
करप्शन पर करारा वार
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Meerut। रोडवेज बसों में बिना टिकट यात्रियों समेत अवैध रूप से माल की ढुलाई आदि की जांच के लिए रोडवेज का प्रवर्तन दल अब ट्रैफिक पुलिस की तरह बॉडी वार्म कैमरों से लैस होगा। यह कैमरे प्रवर्तन दल
में मौजूद सभी कर्मचारियों व अधिकारियों को प्रयोग करने होंगे।
विभाग की नई व्यवस्था के तहत ऑन रोड रोडवेज बस की चेकिंग के दौरान प्रवर्तन दल बॉडी वार्मर कैमरे के साथ बस के अंदर यात्रियों के टिकट व परिचालक के रिकार्ड की जांच करेंगे। किसी भी प्रकार की
अनियमितता होने पर तुरंत एक्शन लिया जाएगा। यह पूरी प्रक्रिया व बातचीत कैमरे में रिकार्ड होती रहेगी। ताकि प्रवर्तन दल स्तर पर किसी भी यात्री को छूट या किसी प्रकार के भ्रष्टाचार को बढ़ावा न
दिया जा सके।
रोडवेज बसों में बिना टिकट या फर्जी एमएसटी के सहारे सफर करना अब भारी पड़ सकता है। कारण, अब बिना टिकट के सफर करते हुए पकड़े जाने पर टिकट के मूल्य से 10 गुना अधिक जुर्माना भी देना पड़ सकता है।
यही नहीं यदि जुर्माना नहीं भरा तो जेल की हवा खिलाने का प्रावधान भी है। दरअसल, परिवहन विभाग ने अपने घाटे को कम करने के साथ ही बेटिकट यात्रा करने वाले यात्रियों पर नकेल कसने के लिहाज से
जुर्माने का दायरा 10 गुना बढ़ाते हुए प्रवर्तन दल को जुर्माना वसूलने की सख्त हिदायत दी है।
मोटर व्हीकल एक्ट 1988 की धारा 178 के तहत मुख्यालय स्तर पर पूरे प्रदेश में यह आदेश लागू किया गया है कि बिना टिकट यात्रा करते हुए पकड़े गए यात्रियों से 10 गुना किराया या अधिकतम पांच सौ रुपये
जुर्माना वसूला जाएगा।
ऑन रोड चेकिंग के दौरान बिना टिकट पकडे़ जाने पर प्रवर्तन दल द्वारा यात्री के खिलाफ धारा 178 की उप धारा 1 के तहत एफआईआर दर्ज कराई जाएगी। मुकदमा दर्ज होने पर यात्री को जेल भी जाना पड़ सकता है।
परिवहन विभाग ने बिना टिकट यात्रा करने वालो पर सख्त एक्शन का प्लान बना लिया है। इसी के तहत विभाग ने बेटिकट यात्रियों से जुर्माने वसूलने के लिए प्रर्वतन दल को कड़े निर्देश दिए हैं। निर्देशों
के मुताबिक अगर बस में बिना टिकट यात्रा कर रहे यात्री से प्रवर्तन दल 10 गुना जुर्माना नहीं वसूलता है तो प्रवर्तन दल के अधिकारी को इस बाबत खुद जुर्माना विभाग में जमा करना होगा।
मुख्यालय स्तर पर यह आदेश जारी किया गया है। इसके लिए निगम द्वारा बसों मे प्रचार-प्रसार भी शुरू कर दिया गया है। प्रवर्तन दलों को भी निर्देश दिए जा चुके हैं।