
Imf चीफ इकनॉमिस्ट ने कहा- वैश्विक आर्थिक वृद्धि अनुमान में गिरावट की 80% जिम्मेदारी भारत पर
- Select a language for the TTS:
- Hindi Female
- Hindi Male
- Tamil Female
- Tamil Male
- Language selected: (auto detect) - HI
Play all audios:

अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) ने वैश्विक आर्थिक विकास दर के अनुमान में जो कटौती की है, उसका जिम्मेदार मुख्य रूप से भारत को बताया है। भारत व कुछ अन्य उभरती अर्थव्यवस्थाओं की
सुस्ती के मद्देनजर आईएमएफ ने वैश्विक आर्थिक वृद्धि दर का जो अनुमान अक्टूबर में दिया था, उसमें करीब 0.1 फीसदी की कटौती की थी। आईएमएफ की चीफ इकोनॉमिस्ट गीता गोपीनाथ ने बताया कि इस
गिरावट की 80 फीसदी जिम्मेदारी भारत की आर्थिक सुस्ती पर आती है। उन्होंने यह बात दावोस में ‘इंडिया टुडे’ चैनल से बातचीत में कही। वह वहां विश्व आर्थिक मंच (वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम) की
बैठक में हिस्सा ले रही हैं। उन्होंने आगे बताया, “हमारे अनुमान के मुताबिक, 2019 में वैश्विक आर्थिक विकास दर 2.9 फीसदी रहेगी, जबकि 2020 में यह आंकड़ा 3.3 प्रतिशत रह सकता है। अगले साल (2020)
का आंकड़ा अक्टूबर के अनुमान से 0.1% प्वॉइंट कम है।” यह पूछे जाने पर कि क्या भारत में Economic Slowdown ने वैश्विक अनुमानों पर असर डाला है? इस पर गीता का जवाब था, “सरल सा गणित बताता है कि यह
80 फीसदी के अधिक होगा।” लड़खड़ाई भारतीय अर्थव्यवस्था के पटरी पर लौटने के बारे में बात करते हुए वह बोलीं- हम देश को उबरते देख रहे हैं। अगले वित्त वर्ष में महत्वपूर्ण सुधार हो सकता है। पूरे
सिस्टम में अच्छा खासा कैश है। कॉरपोरेट टैक्स पर छूट भी है- ये सारी चीजें उबरने में मदद कर सकती हैं। बकौल गोपीनाथ, “सबसे बड़ी समस्या/कमजोरी कैश या उधार की कमी है, जिस पर ध्यान दिया जाना
चाहिए। ऐसे में इससे उबारने के लिए कुछ नीतियां होनी चाहिए। हालांकि, इसी दौरान अन्य NPA संबंधी समस्याएं न खड़ी हों। यही पहला कदम होना चाहिए।” [embedded content] IMF ने घटाया वैश्विक वृद्धि
अनुमान, कहा- 4.8% रह सकती है वृद्धि दरः अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष (आईएमएफ) ने सोमवार को भारत सहित वैश्विक आर्थिक वृद्धि परिदृश्य के अपने अनुमान को कम किया है। इस वैश्विक संगठन ने इसके साथ ही
व्यापार व्यवस्था में सुधार के बुनियादी मुद्दों को भी उठाया है। उसने भारत समेत कुछ उभरती अर्थव्यवस्थाओं में अचंभे में डालने वाली नकारात्मक बातों का हवाला देते हुए कहा कि 2019 में वृश्विक
आर्थिक वृद्धि की दर 2.9 प्रतिशत रह सकती है।