
दलित बच्ची की रेप और हत्या पर घिर रही नीतीश सरकार, विपक्ष के बाद सहयोगी भी उठाने लगे सवाल
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बिहार में चुनावी साल में दलित बच्ची की रेप और हत्या का मुद्दा नीतीश सरकार के गले की फांस बनता जा रहा है। विपक्ष के बाद अब सहयोगी दलों के नेता भी इस पर सवाल उठाने लगे हैं। बिहार विधानसभा
चुनाव से कुछ ही महीने पहले मुजफ्फरपुर में 9 साल की दलित बच्ची से रेप और फिर पटना के पीएमसीएच में इलाज में लापरवाही की वजह से उसकी मौत पर सियासी अखाड़ा बना हुआ है। एक तरफ जहां विपक्षी दल
कांग्रेस और आरजेडी इस मुद्दे पर नीतीश सरकार को घेरे हुए है। वहीं, सत्ताधारी दलों के नेता भी इस पर सवाल खड़े करते हुए अपने ही गठबंधन की सरकार में कानून एवं स्वास्थ्य व्यवस्था पर प्रश्न चिह्न
लगा रहे हैं। कांग्रेस तीन दिन से पटना में प्रदर्शन कर रही है। आरजेडी के नेता तेजस्वी यादव मंगलवार को पीड़ित परिवार से मिलने कुढ़नी पहुंच गए। वहीं, केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने इस केस को
सिस्टम का फेलियर बता दिया। उपेंद्र कुशवाहा ने भी नीतीश कुमार से इस मुद्दे पर संज्ञान लेने की मांग की है। मुजफ्फरपुर जिले के कुढ़नी के एक गांव में 26 मई को मछली बेचने वाला एक युवक दलित परिवार
की मासूम बच्ची को बहला-फुसलाकर खेत में ले गया था। वहां, उसने बच्ची का बलात्कार किया। फिर उसकी गर्दन और सीने पर धारदार हथियार से वारकर वहां से भाग निकला। परिजन ने जब खोजबीन की तो बच्ची गंभीर
हालत में खेत में मिली। उसे स्थानीय अस्पताल ले जाया गया, जहां से मुजफ्फरपुर रेफर कर दिया गया। ये भी पढ़ें:मुजफ्फरपुर की रेप पीड़िता की पीएमसीएच में मौत, कांग्रेस ने किया हंगामा पीड़ित बच्ची
का 5-6 दिन मुजफ्फरपुर के एसकेएमसीएच में इलाज चला। वहां के डॉक्टरों ने बाद में बेहतर इलाज के लिए पटना रेफर कर दिया। परिजन 1 जून को बच्ची को लेकर एंबुलेंस से पटना पहुंचे। यहां पीएमसीएच अस्पताल
में एडमिट कराने के लिए उन्हें घंटों इंतजार करना पड़ा। हंगामा होने के बाद जब बच्ची को भर्ती किया गया, तो देर हो चुकी थी। उसने दम तोड़ दिया। परिजन का आरोप है कि बच्ची को समय पर इलाज मिल जाता
तो उसकी जान बच जाती। पीएमसीएच के स्टाफ ने उनसे रुपयों की भी मांग की थी। ये भी पढ़ें:दलित लड़की से रेप पर सियासत गर्म, गवर्नर से मिले कांग्रेस और जन सुराज के नेता कांग्रेस ने विधानसभा सत्र
बुलाने की मांग की दलित बच्ची की रेप और हत्याकांड में कांग्रेस लगातार सरकार को घेरे हुए है। बच्ची की पटना में मौत होने के बाद सबसे पहले कांग्रेस ने ही इस मुद्दे को उठाया और सरकार को घेरना
शुरू कर दिया। बीते तीन दिनों से पटना में कांग्रेस के नेता और कार्यकर्ता प्रदर्शन कर रहे हैं। बुधवार को भी पार्टी ने स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय का घेराव किया। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजेश
राम के नेतृत्व में कांग्रेस के 11 सदस्यीय शिष्टमंडल ने बुधवार को राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान से मुलाकात की। उन्हें ज्ञापन सौंपा। साथ ही अनुच्छेद-175 के तहत विधानमंडल का विशेष सत्र बुलाने की
मांग की। ये भी पढ़ें:दलित रेप पीड़िता की मौत पर चिराग और मांझी चुप क्यों हैं, कांग्रेस के हमले तेज तेजस्वी ने कुढ़नी पहुंचकर पीड़ित परिवार से मुलाकात की बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष
तेजस्वी यादव ने मंगलवार को मुजफ्फरपुर जिले के कुढ़नी में मृतक बच्ची के घर पहुंचे। उन्होंने पीड़ित परिवार से मुलाकात की और उन्हें ढांढ़स बंधाकर पूरे मामले की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने
नीतीश सरकार को जमकर घेरा और कहा कि बिहार में अब कानून का कोई शासन नहीं है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पता नहीं है कि राज्य में क्या हो रहा है। ये भी पढ़ें:मंत्री के पीए अस्पताल में बेड बेच
रहे, हर जिले में रेप हो रहे; भड़के तेजस्वी ये भी पढ़ें:बच्ची ठीक हो रही थी, जान बच जाती; पीड़िता के घर पहुंचे तेजस्वी से बोला पर परिवार पीके बोले- यह निर्भया कांड से भी ज्यादा भयावह प्रशांत
किशोर ने मुजफ्फरपुर रेप केस पर सरकार को घेरते हुए बुधवार को कहा कि यह घटना निर्भया कांड से भी ज्यादा भयावह है। उन्होंने स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय पर हमला बोलते हुए कहा कि वह बड़ी-बड़ी
बातें करते हैं। लेकिन पीएमसीएच की लापरवाही के कारण समय पर बच्ची का इलाज नहीं हुआ और उसकी मौत हो गई। जन सुराज पार्टी के नेताओं ने बुधवार को राज्यपाल से मुलाकात कर इस केस की उच्च स्तरीय जांच
कराने और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के साथ ही पीड़ित परिवार को एक करोड़ रुपये का मुआवजा देने की मांग की है। चिराग पासवान का नीतीश को पत्र, बोले- यह सिस्टम फेलियर है सत्ताधारी बीजेपी और
जेडीयू के सहयोगी दल लोजपा-रामविलास के मुखिया एवं केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने बुधवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पत्र लिखा। उन्होंने मुजफ्फरपुर में दलित बच्ची के बलात्कार और फिर उसकी
पीएमसीएच में मौत होने के मामले पर सख्त कार्रवाई की मांग की। अपने पत्र में चिराग ने इस घटना पर राज्य की कानून व्यवस्था और सामाजिक तंत्र पर सवाल भी उठाए। उन्होंने इसे सिस्टम का फेलियर बताया।
एक और सहयोगी दल राष्ट्रीय लोक मोर्चा के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने भी इस मुद्दे पर नीतीश कुमार से संज्ञान लेने की मांग की। ये भी पढ़ें:दलित बच्ची का रेप और मौत को चिराग ने सिस्टम फेलियर
बताया, नीतीश को लिखा पत्र असित नाथ तिवारी बागी हुए, बीजेपी छोड़ कांग्रेस में गए बीजेपी के प्रवक्ता असित नाथ तिवारी ने दो दिन पहले मुजफ्फरपुर रेप कांड पर सवाल उठाए। जब बीजेपी के सीनियर नेताओं
का उन पर दबाव आया तो उन्होंने पार्टी छोड़ दी। अगले दिन मंगलवार को वे कांग्रेस में चले गए। तिवारी ने आरोप लगाया कि बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने उन्हें सोशल मीडिया पोस्ट डिलीट करने
का दबाव बनाया था। उस पोस्ट में उन्होंने दलित बच्ची से रेप और उसकी मौत पर सवाल खड़े किए थे। ये भी पढ़ें:PMCH में इलाज के बिना रेप पीड़िता की मौत से असित नाथ तिवारी बागी, BJP से इस्तीफा डॉक्टर
सस्पेंड, जांच कमिटी गठित दलित बच्ची की रेप और हत्या के बाद चौतरफा घिर रही नीतीश सरकार ने आनन-फानन में कार्रवाई शुरू कर दी है। स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने मंगलवार को जांच कमिटी गठित की।
साथ ही पीएमसीएच और एसकेएमसीएच के प्रभारी को सस्पेंड कर दिया गया। स्वास्थ्य विभाग की टीम बुधवार को दोनों अस्पतालों में पहुंची और जांच की। जल्द ही टीम विभाग को अपनी रिपोर्ट सौंपेगी।