
आर्मी चीफ vs मोहम्मद यूनुस के खेल में नया ट्विस्ट, बांग्लादेश के 20 दलों से अंतरिम सरकार को अभयदान
- Select a language for the TTS:
- Hindi Female
- Hindi Male
- Tamil Female
- Tamil Male
- Language selected: (auto detect) - HI
Play all audios:

पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया की बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी ने इससे पहले मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार पर दबाव बढ़ाते हुए पिछले दिनों एक विशाल रैली निकाली थी और दिसंबर तक
चुनाव कराने की मांग की थी। सभी दलों ने इस पर सहमति जताई। Pramod Praveen लाइव हिन्दुस्तान, ढाकाMon, 2 June 2025 09:51 PM Share Follow Us on __ पड़ोसी देश बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के मुखिया
मोहम्मद यूनुस और आर्मी चीफ जनरल वाकर-उज-जमान के बीच खटपट के खेल में नया ट्विस्ट आ गया है। दोनों में टकराव की खबरों के बीच बड़ी संख्या में वहां के राजनीतिक दलों ने 84 वर्षीय नोबेल विजेता
यूनुस को बड़ी राहत दी है। दरअसल, आर्मी चीफ जहां देश में तुरंत चुनाव कराने के लिए अंतरिम सरकार पर दबाव बना रहे हैं और तख्ता पलट जैसी कोशिशों में शामिल हैं, वहीं बांग्लादेश के 20 राजनीतिक दलों
ने मोहम्मद यूनुस के उस प्रस्ताव का समर्थन किया है, जिसमें दिसंबर 2025 तक चुनाव कराने की बात कही गई है। बांग्लादेश के अंतरिम मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस ने 28 राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों
के साथ उच्च स्तरीय बैठक की, जिसमें 20 दलों के नुमाइंदों ने दिसंबर तक राष्ट्रीय चुनाव कराने के यूनुस के प्रस्ताव का समर्थन किया। शुरू में यूनुस की अंतरिम सरकार ने 26 दलों को ही बैठक में
बुलाया था लेकिन अंतिम घड़ी में जमीयत-उलेमा-ए-बांग्लादेश और इस्लामी ओइक्या जोते को भी जोड़ा गया। इस कोशिश के जरिए मोहम्मद यूनुस ने व्यापक स्तर पर एक राजनीतिक आम सहमति बनाने की कोशिश की है, जो
उनकी कुर्सी बचाने और मान को बढ़ाने में मददगार साबित हुआ है। इससे आर्मी चीफ पर अलग तरह का दबाव पड़ सकता है। किन-किन दलों ने बैठक में की शिरकत इस अहम बैठक में भाग लेने वालों में मुख्य विपक्षी
बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) के वरिष्ठ नेता भी शामिल थे, जिनमें स्थायी समिति के सदस्य सलाहुद्दीन अहमद, अध्यक्ष के सलाहकार इस्माइल जबीउल्लाह और कार्यकारी समिति के सदस्य रूहुल कुद्दुस
कज़ल भी मौजूद रहे। हाल ही में कानूनी राजनीतिक दर्जा पाने वाले जमात-ए-इस्लामी ने भी इस बैठक में शिरकत की। ये भी पढ़ें:बांग्लादेश में चुनाव लड़ने की तैयारी में कट्टरपंथी संगठन, भारत पर क्या
असर ये भी पढ़ें:बांग्लादेश में नोटो से हटे शेख मुजीब, नई करेंसी से हिंदुओं को खुश करने का प्लान ये भी पढ़ें:शेख मुजीब नहीं हिंदू, बौद्ध मंदिरों की तस्वीरें; बांग्लादेशी करेंसी का नया रूप ये भी
पढ़ें:हसीना ने दिए थे नरसंहार के आदेश; बांग्लादेश में मामला दर्ज, फांसी की सजा भी संभव राजनीतिक दलों के बीच आम सहमति की कोशिश हालांकि, बांग्लादेश में चुनाव कराए जाने की कोई निर्धारित तारीख
नहीं बताई गई है लेकिन सियासी दलों के इस मीटिंग ने यूनुस को चुनाव कराने पर एक वैध समय सीमा दे दी है। अभी हाल ही में मोहम्मद यूनुस ने कहा था कि देश में आम चुनाव दिसंबर 2025 से जून 2026 के बीच
किसी भी समय कराए जा सकते हैं। पिछले साल बड़े पैमाने पर हुए विद्रोह के बाद महत्वपूर्ण लोकतांत्रिक सुधारों पर भी यूनुस की अगुवाई वाली अंतरिम सरकार ने प्रतिद्वंद्वी राजनीतिक दलों के बीच आम
सहमति बनाने के लिए सोमवार को एक नई पहल की है और जल्द ही जुलाई चार्टर की घोषणा करने की बात कही है।