
इसकी आंखें और त्वचा चाहिए… महिला ने तांत्रिक के साथ मिलकर 6 साल की बेटी की ले ली जान
- Select a language for the TTS:
- Hindi Female
- Hindi Male
- Tamil Female
- Tamil Male
- Language selected: (auto detect) - HI
Play all audios:

दक्षिण अफ्रीका की एक महिला को बेटी की हत्या के आरोप में उम्र कैद की सजा सुनाई गई है। कथित तौर पर इस महिला ने अपनी बेटी को एक तांत्रिक को बेच दिया था, जिसने जादू-टोने के लिए बेटी के आंख और
त्वचा मांगे थे। Jagriti Kumari लाइव हिन्दुस्तानFri, 30 May 2025 07:20 PM Share Follow Us on __ दक्षिण अफ्रीका के एक राज्य से एक मां की खुद की बेटी के साथ की गई हैवानियत की भयावह खबर सामने आई
हैं। इस महिला को अपनी 6 साल की बेटी को एक तांत्रिक को बेचने के लिए दोषी ठहराया गया है। इस मामले में महिला को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। कथित तौर पर तांत्रिक जादू-टोने के लिए बेटी के
शरीर के अंगों का इस्तेमाल करने वाला था। न्यूयॉर्क पोस्ट की एक रिपोर्ट के मुताबिक रेक्वेल स्मिथ नाम की महिला ने उसके उसके प्रेमी जैक्वेन एपोलिस और दोस्त स्टीवेनो वैन राइन के साथ मिलकर इस घटना
को अंजाम दिया। अदालत ने तीनों आरोपियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। मामला तब सुर्खियों में आया था जब फरवरी 2024 में एक दिन स्मिथ की बेटी जोशलिन अचानक लापता हो गई। इस घटना के बाद बच्ची
की तस्वीर पूरे देश में चर्चा का विषय बन गई थी। वहीं बच्ची की मां को केप टाउन सहित पूरे देश से सहानुभूति मिली थी। हालांकि मामले की जांच के दौरान चौंकाने वाले खुलासे हुए। चौंकाने वाले खुलासे
जांच के दौरान यह पता चला कि स्मिथ ने अपनी बेटी को 20,000 रैंड यानी लगभग 1,100 डॉलर में एक तांत्रिक को बेच दिया था। अदालत में यह खुलासा भी हुआ कि उस तांत्रिक ने एक अनुष्ठान के लिए जोशलिन की
आंखें और त्वचा मांगी थी। हालांकि जिस चीज ने लोगों को सबसे ज्यादा झकझोर दिया वह था, इसके पीछे का मकसद। जानकारी के मुताबिक तीनों ने ड्रग्स के पैसों का जुगाड़ करने के लिए मासूम बच्ची का कत्ल
किया था। ये भी पढ़ें:अभी बड़ी लड़ाई लड़नी है ताकि..., बेटी के हत्यारों को उम्रकैद पर अंकिता की मां उम्रकैद की सजा मामले की सुनवाई करने वाले जज नाथन इरास्मस ने कहा कि महिला को अपने किए का कोई
पछतावा नहीं था। अपनी टिप्पणी में कोर्ट ने जोर देकर कहा कि दोषी सबसे कठोरतम सजा के हकदार हैं और उन्हें उम्रकैद की सजा सुनाई गई। लगभग आठ सप्ताह तक चलने वाले मुकदमे ने व्यापक स्तर पर लोगों का
ध्यान खींचा था। कोर्ट की कार्रवाई को स्टेडियम में स्थानांतरित कर दिया गया था ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग इसे देख सकें।